
बस्ती (उत्तर प्रदेश) विकास खण्ड कप्तानगंज के बघौड़ा ग्राम पंचायत में सामाजिक मुद्दे को लेकर पूर्व प्रधान सुभाष निषाद के द्वारा सामाजिक समरसता की बैठक कि गई जिनमें तत्कालीन सामाजिक मुद्दे को लेकर सुभाष निषाद ने कहा कि आजकल गलत धारणाओं को लेकर दो व्यक्तियों में आपसी मतभेद बड़ी आसानी से हो जा रहे हैं जिससे समाज में एक नकारात्मक प्रभाव पड़ रहा है, देखा जाए तो समाज भी एक कुटुंब की तरह है हमें आपसी रंजिशो को सुलाह समझौता के तहत हल कर लेना चाहिए मुकदमा ही केवल एक विकल्प नहीं है, हजारों हजार मुकदमे न्यायालय में विचाराधीन पड़े हैं जिसका समय से निर्णय ना होना भी वादी प्रतिवादी को हताश कर देता है आगे उन्होंने कहा पुलिस प्रशासन को भी चाहिए कि जहां तक हो सके मामले को स्थानीय स्तर पर निपटाया जाए मामले को लेकर कोई संदेश वादी-प्रतिवादी के बीच ना हो स्पष्ट और त्वरित एवं स्वच्छ तरीकों से मामले का निस्तारण यदि जमीनी स्तर से हो जा रहा है इससे अच्छी बात और कुछ हो ही नहीं सकती. सुभाष निषाद ने कहा कि आजकल ज्यादा मामले भूमि विवाद को लेकर आ रहे हैं लगभग 80% मामले सिर्फ जमीनी रंजिश का होता है यदि समाज के बुद्धिजीवियों को इसमें सम्मिलित कर स्थानीय स्तर पर पंचायत के माध्यम से निपटान हो सके तो कोर्ट कचहरी के लंबे प्रक्रिया से निजात मिल सकती है परंतु इसके लिए यह आवश्यक है कि निष्पक्षता का प्रादुर्भाव हो.
बैठक में उपस्थित दुबौला चौकी इंचार्ज जय प्रकाश चौबे ने कहा कि हम लोगों की भी यही कोशिश रहती है कि मामले का निपटारा सुलह समझौते से हो जाए छोटे-छोटे मामलों को लेकर आजकल लोग मुकदमा पंजीकृत और मुकदमे बाजी पर आमादा हो जाते हैं जो समाज में वैमनस्यता फैलाने का काम करता है क्योंकि पुलिस विभाग को राजस्व विभाग का अधिकार नहीं प्राप्त है फिर भी राजस्व के ज्यादातर मामलों में उच्चाधिकारियों के आदेशानुसार सम्मिलित होना पड़ता है हम कोशिश करते हैं कि मामले को नासूर ना बनाया जाए, रही बात की ऐसे मामलों में ज्यादातर महिलाओं को आगे कर दिया जाता है जिससे पुरुष सुरक्षाकर्मी एवं पुलिसकर्मियों के हाथ बंध जाते हैं क्योंकि महिला कांस्टेबल के अभाव में हम लोग कुछ नहीं कर पाते, आगे उन्होंने कहा चुके हम जनता के सेवक हैं तो इस कारण से हमारा यह दायित्व है कि 24 घंटे हम सेवा में तत्पर रहें कई मामले ऐसे भी आए हैं जब मुंह में निवाला डालने वाले होते हैं की निवाला छोड़कर त्वरित कार्रवाई के लिए विवादित घटनास्थल पर पहुंचना होता है हां यह बात और है कि पर्याप्त मात्रा में सुरक्षाकर्मी ना होने के कारण दो-चार मिनट का विलंब हो सकता है परंतु घटनास्थल पर पहुंचना ही हमारी प्राथमिकता होती है और मामले को बेहतर ढंग से निस्तारण हो इसके लिए हम लोग प्रतिबद्ध हैं.
बैठक में उपस्थित गणमान्य क्षेत्रवासी एवं ग्राम पंचायत के सैकड़ों लोग सम्मिलित थे.
बघौडा में सामाजिक समरसता की बैठक का आयोजन हुआ